पेय जल योजनाओं की बहाली के लिए युद्ध स्तर पर कर रहे जलरक्षक कार्य

हिमाचल प्रदेश में भारी बारिश और आपदा के बाद जल रक्षक पंचायत के माध्यम से लगे जल रक्षक युद्ध स्तर पर कार्य कर रहे हैं। अत्यधिक बारिश के कारण जगह-जगह पाइपलाइन टूट चुकी है, जिससे लोगों के घरों तक पानी पहुंचाना मुश्किल हो गया है। जल रक्षक दिन-रात एक कर पानी की सप्लाई को बहाल करने में लगे हैं ताकि लोगों को पानी की असुविधा न हो।

जल रक्षक संघ प्रदेश अध्यक्ष ज्वालू राम ने सरकार से आग्रह किया है कि समय रहते उनकी मांगों को पूरा किया जाए। उन्होंने कहा कि जो जल रक्षक 12 वर्ष का कार्यकाल पूर्ण कर चुके हैं उन्हें नियमित किया जाए, कॉन्ट्रैक्ट पर आने की अवधि को 12 वर्ष से घटाकर 8 वर्ष किया जाए, और पूर्ण रूप से जल शक्ति विभाग के अधीन किया जाए। इससे जल रक्षक अपना और अपने परिवार का पालन-पोषण उचित प्रकार से कर सकेंगे।

मंडी जिले में आई आपदा के बाद राहत और बचाव कार्य युद्ध स्तर पर किया जा रहा है। प्रदेश सरकार के दिशानिर्देशों के अनुसार, जल रक्षक पंचायत के माध्यम से लगे जल रक्षक अपनी सेवाएं दे रहे हैं। हिमाचल प्रदेश में आपदा के बाद अब तक 78 लोगों की मौत हो चुकी है, और 700 करोड़ रुपये से अधिक का नुकसान हुआ है। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि जिन लोगों के घर आपदा से क्षतिग्रस्त हुए हैं, प्रदेश सरकार उन्हें 5 हजार रुपये प्रति माह मकान के किराए के तौर पर देगी ¹.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *